मध्यप्रदेश के 50 जिलों में धारा 144 लागू


नागरिकता संशोधन कानून और प्रस्तावित राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के खिलाफ शुक्रवार को हिंसक प्रदर्शन का दौर जारी रहा। मध्य प्रदेश में भी कई इलाकों में प्रदर्शन हुआ। इस दौरान जबलपुर शहर के चार थाना इलाकों में कर्फ्यू लगाया गया, जबकि प्रदेश के बाकी सभी 51 जिलों में शांतिपूर्ण प्रदर्शन हुआ। जबलपुर में शनिवार शाम 6 बजे तक इंटरनेट सेवा रोकने का फैसला लिया गया है। इसके साथ ही यहां 50 जिलों में धारा 144 लगा दी गई है। 


वहीं, प्रदेश की राजधानी भोपाल में सात घंटे के लिए इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई। जबलपुर जिला कलेक्टर भरत यादव ने बताया कि जबलपुर शहर के गोहलपुर और हनुमानताल पुलिस थानों के पूरे इलाके व कोतवाली और आधारताल पुलिस थानों के कुछ इलाकों में हिंसा होने के बाद कर्फ्यू लगाया गया है। उन्होंने बताया कि 21 दिसंबर को एहतियाती तौर पर जबलपुर शहर के स्कूलों को बंद करने के आदेश दिए गए हैं। यादव ने कहा कि जिन इलाकों में विरोध प्रदर्शन किया गया था, वहां स्थिति अब नियंत्रण में है। उन्होंने कहा कि पुलिस से रिपोर्ट मिलने के बाद जिला प्रशासन ने स्थिति की समीक्षा की और मामले में कार्रवाई की।
जिन चार थाना इलाकों में कर्फ्यू लगाया गया है, वहां पर मुस्लिम समुदाय की अच्छी खासी आबादी है। सीएए और एनआरसी के खिलाफ शुक्रवार को लगभग समूचे मध्यप्रदेश में प्रदर्शन हुए। जबलपुर के गोहलपुर इलाके में प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पथराव किया, जिसके कारण पुलिस ने उन्हें तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया। प्रदेश के बाकी सभी जिलों में शांतिपूर्ण प्रदर्शन हुआ। सीएए और एनआरसी पर देश में हो रहे प्रदर्शनों के मद्देनजर मध्यप्रदेश सरकार ने प्रदेश के 52 जिलों में से 50 जिलों में निषेधाज्ञा लागू की है। इन जिलों में 18 फरवरी तक निषेधाज्ञा लगी हुई है और धरना, रैली और सभाएं करना मना है।